ऋग्वेद [सनातन धर्म] का सबसे आरंभिक स्रोत है। इसमें १०२८ सूक्त हैं, जिनमें देवताओं कीस्तुति की गयी है। इसमें देवताओं का यज्ञ में आह्वान करने के लिये मन्त्र हैं, यही सर्वप्रथम वेद है।
ऋग्वेद को इतिहासकार हिन्द-यूरोपीय भाषा-परिवार की अभी तक उपलब्ध पहली रचनाऔं में एक मानते हैं। यह संसार के उन सर्वप्रथम ग्रन्थों में से एक है जिसकी किसी रुप में मान्यता आज तक समाज में बनी हुई है।
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धन्यवाद
ReplyDeleteReally
Deletegood
HOW I CAN GET PRINTED COPY & CD OF THESES. REALY FANTASITC JOB
DeleteReally nice book
ReplyDeleteThanks so much
DeleteExcellent
ReplyDeleteVery good
ReplyDelete🙏😊
ReplyDeleteGoodl bt Incomplete. . . Where is saptam mandal
ReplyDeleteRight
ReplyDeleteGood
ReplyDeleteThank you so much
ReplyDeleteGood
ReplyDeleteYha ...Mandal 8 , 9 , 10 nahi hai
ReplyDeleteThis download link don't work,please repair
ReplyDeleteहमने तो आज तक यही सुना था कि चारो वेद भगवान ने ऋषि वेद व्यास को सुनाए/सुझाए या समझाए तो ऋषि ने भगवान द्वारा बनाई हुई संस्कृति में लिखे, (वो संस्कृति जिस का अर्थ होता है सुधार कर बनाई हुई भाषा अगर सुधार कर बनाई तो किस भाषा को सुधारा ?)......यदि ये वेद भगवान ने सुझाए हैं तो आ यहां आरम्भ में ही ये दिख रहा है कि कुछ गृहस्थी लोग देवताओं का आवाह्न कर रहे हैं सबसे पहले अग्नि देव को कह रहे हैं कि हमने आपके लिए सोमरस यानी मदिरा तैयार कर रखी है, आप आ कर ग्रहण करें...........और लगभग सारे ही वेदों में ऐसे ही देवताओं कि स्तुति और अपनी परिवारिक वस्तुओं के लिए प्रार्थनाएं की गई हैं......भगवान की प्राप्ति की भी कोई प्रार्थना नहीं
ReplyDeleteभगवान ऋषि को ये क्या सुझाना चाहता है.......या यह वेद केवल एक मनुष्य की ही कल्पना हैं
कल्पना
Deleteकल्पना ही है, अग्नि इंद्र मित्र वसु आदि राजाओं के उपमान थे उनकी चापलूसी में ये श्लोक गढ़े गए हैं। वोल्गा से गंगा पढ़िए राहुल सांकृत्यायन की समझ जाएंगे
Deleteश्रीमान आप ज्ञान मार्ग सतह का स्पर्श मात्र भी न कर पाए इसलिए ऐसा अनर्गल विचार प्रकट कर रहे हैं। आप को वेदों के ज्ञान व उसके रहस्य से क्या प्रयोजन।
DeleteDear Avtar Singh ji-
DeletePlease complete your spiritual course first... then comment
Bahut sundar karya
ReplyDeleteमुझे अवतार सिंहजी की टिप्पणी का उत्तर दिखा दीजिये
ReplyDeleteहिंदी रूपांतर ठीक नहीं किया गया है, शब्दों का अर्थ सही नहीं है।
ReplyDeleteWhere is mandal 8,9,10
ReplyDelete७,८,९,१०,
DeleteYes, 7, 8,9 and 19
Deleteपूरे १० मंडल भेजो
ReplyDeleteMandal 8 9 or 10 q nhi h isme
ReplyDeleteबहुत खूब
ReplyDeleteमुझे ऋग्वेद के द्वितीय भाग की पीडीएफ की आवश्यकता है, क्या अपने इसे अपलोड किया जी?
ReplyDeleteNice 👍
ReplyDeletePlease share 7,8,9 and 10
ReplyDeleteNice
ReplyDeleteKoi BH pdf access nhi ho pa rhi h
ReplyDeletebhai sahab isme 6 mandal hi hai jabki rigvedas main 10 mandala hai pura 10 mandalo wala bhejo nanplease
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